India-Afghanistan: अफगानिस्तान में फिर खुला भारतीय दूतावास, भारत ने काबुल में तकनीकी मिशन को दूतावास में किया अपग्रेड

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India-Afghanistan Relations, (आज समाज),नई दिल्ली/काबुल: अफगानिस्तान में फिर भारतीय दूतावास खुल गया है। भारत ने राजधानी काबुल में अपने तकनीकी मिशन को दूतावास में अपग्रेड कर दिया है। गौरतलब है कि हाल ही में तालिबान प्रशासन के कार्यवाहक विदेश मंत्री आमिर खान मुत्तकी भारत दौरे पर आए थे और इसके कुछ दिन बाद, भारत ने अफ़ग़ानिस्तान में अपने तकनीकी मिशन को दूतावास में अपग्रेड कर दिया है। विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि यह अपग्रेडेशन मंगलवार को तत्काल प्रभाव से हुआ।

गहरे होंगे दोनों देशों के द्विपक्षीय संबंध

विदेश मंत्रालय के बयान में कहा गया कि विदेश मंत्री की हालिया भारत यात्रा के दौरान घोषित निर्णय के अनुरूप, सरकार तत्काल प्रभाव से काबुल स्थित तकनीकी मिशन का दर्जा अफगानिस्तान में भारतीय दूतावास के समान बहाल कर रही है। बयान के मुताबिक, यह निर्णय आपसी हितों के सभी क्षेत्रों में अफगान पक्ष के साथ अपने द्विपक्षीय संबंधों को गहरा करने के भारत के संकल्प को रेखांकित करता है।

जल्द की जाएगी एक प्रभारी की नियुक्ति 

आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि जल्द ही एक प्रभारी (सीडीए) की नियुक्ति की जाएगी जो राजदूत की नियुक्ति तक दूतावास का संचालन करेंगे। सूत्रों के मुताबिक दूतावास का कार्यभार संभालने के लिए एक औपचारिक राजदूत भेजने में कुछ समय लग सकता है। बता दें कि चीन, ईरान, रूस, खाड़ी देशों और मध्य एशियाई गणराज्यों जैसी कई प्रमुख शक्तियों ने तालिबान से बातचीत की है, लेकिन केवल रूस ने ही तालिबान को अफगानिस्तान के वास्तविक शासक के रूप में मान्यता दी है। 

10 अक्टूबर को हैदराबाद हाउस में मिले थे मुत्तकी और जयशंकर 

विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने 10 अक्टूबर को हैदराबाद हाउस में मुत्तकी से मुलाकात के बाद काबुल में तकनीकी मिशन को उन्नत करने का निर्णय लिया था। अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच डूरंड रेखा पर छिड़े तीव्र युद्ध की पृष्ठभूमि में जयशंकर और मुत्तकी के बीच यह मुलाकात हुई थी। इसके बाद, दोनों पक्षों ने कतर की मध्यस्थता से युद्धविराम की घोषणा की।

भारत ने 2021 में इस वजह से बंद कर दिए थे दूतावास

अगस्त 2021 में, जब तालिबान द्वारा राष्ट्रपति अशरफ गनी की सरकार को उखाड़ फेंकने के बाद कानून-व्यवस्था बिगड़ गई थी, तब भारत ने काबुल में अपना दूतावास बंद कर दिया था और मौजूदा कर्मचारियों को वापस बुला लिया था। 2021 की शुरुआत में संघर्ष तेज होने पर मजार-ए-शरीफ, जलालाबाद, कंधार और हेरात स्थित भारतीय वाणिज्य दूतावास भी बंद कर दिए गए थे। भारत ने 23 जून, 2022 को मिशन चलाने के लिए काबुल में एक तकनीकी टीम भेजी थी, जिसका उद्देश्य मानवीय और कांसुलर सहायता प्रदान करना था।

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