GST New Rates : जीएसटी काउंसिल ने दी नई दरों को मंजूरी

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GST New Rates : जीएसटी काउंसिल ने दी नई दरों को मंजूरी
GST New Rates : जीएसटी काउंसिल ने दी नई दरों को मंजूरी

अब चार नहीं दो दरें होंगी लागू, नई दरें 5 और 18 फीसदी होंगे

GST New Rates (आज समाज), नई दिल्ली : वित्त मंत्री की अध्यक्षता में हुई जीएसटी काउंसिल की बैठक में नई जीएसटी दरों को मंजूरी दे दी गई है। जैसे ही वित्त मंत्री ने नई दरों के बारे में ऐलान किया। भारतीय शेयर बाजार खुशी से झूम उठा और एकदम से पांच सौं अंक की बढ़त पर आ गया। वित्त मंत्री ने बताया कि जीएसटी काउंसिल ने आठ साल पहले के नियमों में ऐतिहासिक सुधार करते हुए चार की जगह अब सिर्फ दो जीएसटी स्लैब को मंजूरी दे दी है। काउंसिल में सभी राज्यों के वित्त मंत्रियों ने आम सहमति से जीएसटी की सिर्फ दो दरों, 5 और 18 फीसदी को मंजूरी दी।

नई दरों में इन वस्तुओं को रखा टैक्स से बाहर

इस फैसले से 175 से अधिक वस्तुएं सस्ती हो जाएंगी। वर्तमान में जीएसटी की चार दरें 5, 12, 18 और 28 फीसदी लागू हैं। पनीर, छेना, टेट्रापैक दूध, रोटी, चपाती परांठा, खाकरा जैसी आम लोगों से जुड़ी खाद्य वस्तुओं, दुर्लभ बीमारियों और कैंसर की दवाओं पर कोई टैक्स नहीं लगेगा। व्यक्तिगत स्वास्थ्य बीमा और जीवन बीमा पॉलिसियों को भी करों से छूट दे दी गई है। इसकी लंबे अरसे से मांग उठ रही थी। वहीं, फास्ट फूड, धनाढ्य वर्ग के उपभोग में आने वाली लग्जरी कारों समेत शराब, तंबाकू जैसी चुनिंदा विलासिता की एवं जीवन के लिए हानिकारक वस्तुओं के लिए 40 फीसदी का विशेष कर स्लैब बनाया गया है।

22 सितंबर से लागू होंगी नई दरें

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि नई दरें 22 सितंबर से लागू होंगी। काउंसिल की बुधवार को हुई करीब साढ़े दस घंटे की बैठक के बाद सीतारमण ने बताया कि ये सुधार आम आदमी को ध्यान में रखकर किए गए हैं। आम आदमी के दैनिक उपयोग की वस्तुओं पर लगने वाले हर कर की कड़ी समीक्षा की और ज्यादातर मामलों में दरों में भारी कमी हुई है। किसानों और कृषि क्षेत्र के साथ स्वास्थ्य क्षेत्र को भी इससे लाभ होगा। दरों का यह सरलीकरण अगली पीढ़ी के जीएसटी सुधार पहल का हिस्सा है।

अमेरिकी टैरिफ से राहत दिलाएंगी नई दरें

जीएसटी दरों के बाद भारतीय उत्पादों की कीमत में कमी आएगी। जिससे लोग ज्यादा मात्रा में खरीद सकेंगे। यदि लोग आने वाले त्योहारी सीजन में खुलकर खरीदारी करते हैं तो इससे भारतीय अर्थव्यवस्था को तेजी और मजबूती मिलेगी जोकि अमेरिकी टैरिफ की घोषणा के बाद कहीं न कहीं सुस्त होती दिखाई दे रही थी।

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