Jaswinder Bhalla Passes Away : छनकाटे की झंकार का खामोश हो जाना दुखद : सीएम

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Jaswinder Bhalla Passes Away : छनकाटे की झंकार का खामोश हो जाना दुखद : सीएम
Jaswinder Bhalla Passes Away : छनकाटे की झंकार का खामोश हो जाना दुखद : सीएम

मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने पंजाब कलाकार जसविंदर भल्ला के निधन पर जताया शोक

Jaswinder Bhalla Passes Away (आज समाज), चंडीगढ़ : पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने पंजाब कलाकार जसविंदर भल्ला के निधन पर शोक जताते हुए कहा है कि छनकाटे की झंकार का इस तरह खामोश हो जाना बेहद दुखद है। मान ने अपने एक्स अकाउंट पर लिखा कि उन्होंने लिखा, “जसविंदर भल्ला जी का इस दुनिया से अचानक चले जाना बेहद दुखद है। छनकाटे की झंकार के खामोश होने से मन दुखी है। पोस्ट के अंत में उन्होंने लिखा, “वाहेगुरु उन्हें अपने श्रीचरणों में स्थान दें। चाचा चतरा हमेशा हमारे दिलों में रहेंगे।

वहीं शिअद के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने दिवंगत कलाकार को याद किया। बादल ने एक्स् पर लिखा कि पंजाब के प्रसिद्ध हास्य कलाकार और अद्भुत इंसान, जसविंदर भल्ला जी के निधन की खबर सुनकर गहरा दुख हुआ है। अपनी असाधारण कलाकारी से उन्होंने पंजाबियों के दिलों पर राज किया। इस भागदौड़ भरी जिंदगी में, पंजाबी हमेशा भल्ला जी को याद रखेंगे, जिन्होंने लोगों के चेहरों पर मुस्कान ला दी। गुरु साहिब दिवंगत आत्मा को अपने श्री चरणों में स्थान दें और परिवार और उनके लाखों प्रशंसकों को इस दिव्य इच्छा को स्वीकार करने की शक्ति प्रदान करें।

65 साल की उम्र में ली अंतिम सांस

अनुभवी पंजाबी अभिनेता जसविंदर भल्ला के निधन से हंसी की दुनिया में सन्नाटा छा गया है। उन्होंने आज सुबह मोहाली के फोर्टिस अस्पताल में अंतिम सांस ली। वह 65 वर्ष के थे। अपनी अनोखी हास्य शैली, चुटीले संवादों और अविस्मरणीय किरदारों के लिए मशहूर भल्ला लंबे समय से बीमारी से जूझ रहे थे। उनके निधन से प्रशंसकों और पंजाबी फिल्म जगत में गहरा शोक है।

पंजाबी मनोरंजन जगत में एक जाना-माना नाम, जसविंदर भल्ला ने अपने तीखे व्यंग्य, सादगी और सहज हास्य से कॉमेडी को एक नई परिभाषा दी, जिसने हर पीढ़ी के दर्शकों को बांधे रखा। कैरी आॅन जट्टा से लेकर जिंद जान, बैंड बाजे और हमेशा लोकप्रिय रही गड्डी चलदी है छलांग मार के तक, उनके अभिनय में हास्य और दिल का बेजोड़ मिश्रण था। उन्होंने जो भी भूमिकाएँ निभाईं, वे मुस्कान और प्यारी यादें छोड़ गईं।

प्रोफेसर से हास्य कलाकार तक

4 मई, 1960 को लुधियाना के दोराहा में जन्मे भल्ला ने कॉमेडी की दुनिया में कदम रखने से पहले एक प्रोफेसर के रूप में अपना करियर शुरू किया। उनका सफर 1988 में छनकाटा से शुरू हुआ, जिसने उन्हें दर्शकों के बीच तुरंत लोकप्रिय बना दिया। बाद में उन्होंने फिल्मों में कदम रखा और पंजाबी सिनेमा के सबसे प्रसिद्ध हास्य कलाकारों में से एक बन गए।