Charkhi Dadri News : भाजपा कार्यकर्ताओं ने डा. श्यामा प्रसाद मुखर्जी के बलिदान दिवस पर नमन किया

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BJP workers paid tribute to Dr. Shyama Prasad Mukherjee on his martyrdom day
जनसंघ के संस्थापक डा. श्यामा प्रसाद मुखर्जी के बलिदान दिवस पर उनको नमन करते भाजपा कार्यकर्ता।

(Charkhi Dadri News) बाढड़ा। जनसंघ के संस्थापक और पहली सरकार मे उद्योग मंत्री रहे डा. श्यामा प्रसाद मुखर्जी का आज बलिदान दिवस पूरे देश में भाजपा कार्यकर्ताओं द्वारा मनाया जा रहा है।बाढड़ा कस्बे में सतनाली रोड़ पर भाजपा नेता मोहन लाल सैनी की अध्यक्षता में जनसंघ के संस्थापक डा. श्यामा प्रसाद मुखर्जी का बलिदान दिवस भाजपा कार्यकर्ता व सामाजिक संगठनों के पदाधिकारियों द्वारा मनाया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि पूर्व जिला अध्यक्ष मुनीश बडेसरा ने बताया कि आज के दिन 23 जून 1953 को डा. श्यामा प्रसाद मुखर्जी का बलिदान कश्मीर में एक साजिश के तहत हुआ था।

उस समय की नेहरू सरकार ने जम्मू और कश्मीर को देश का अलग हिस्सा बताया था उसके विरोध में मुखर्जी ने मंत्री पद से इस्तीफा दिया था और जनसंघ की स्थापना की। 1952 के चुनाव में सांसद बने फिर कश्मीर गए वहां पर उस समय की नेहरू सरकार ने साजिश रच उनको मरवा दिया और मुखर्जी बलिदान हो गए। जिला उपाध्यक्ष सपना सैन ने कहा कि भाजपा सरकार ने मुखर्जी का सपना साकार किया है धारा 370 तोड़ कर, राम मंदिर बनाया है। आज हम उनके दिखाए रास्ते पर मोदी सरकार चल रही है। इस दौरान मुनीश बडेसरा, जिला उपाध्यक्ष सपना सैन, मंडल उपाध्यक्ष मोहन लाल सैनी, विनोद जांगड़ा, सुशीला देवी, हवासिंह सैन, डा अशोक शर्मा, धनासरी, अजीत दहिया, विक्रम सिंह, भीम ठेकेदार इत्यादि मौजूद रहे।

श्यामा प्रसाद मुखर्जी का पूरा जीवन रहा राष्ट्र को समर्पित

भारतीय जनसंघ के संस्थापक डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी का बलिदान गांव पिचोपा कलां में भाजपा वरिष्ठ नेता व झोझू मंडल प्रतिनिधि रामनिवास शर्मा पिचोपा के नेतृत्व में मनाया गया । सभी ने उनके चित्र समक्ष पुष्प अर्पित करते हुए श्रद्धाजंली दी व उनके दिखाए मार्ग पर चलने का संकल्प लिया।रामनिवास पिचोपा ने कहा कि श्यामा प्रसाद मुखर्जी का पूरा जीवन राष्ट्र के लिए समर्पित रहा। देश की एकता व अखंडता के लिए उन्होंने पूरा जीवन लड़ाई लड़ी। जम्मू-कश्मीर की परमिट प्रणाली खत्म करने के लिए पुरजोर आवाज उठाई।

इसका विरोध करते हुए उन्होंने जम्मू-कश्मीर में बिना परमिट आने का निर्णय लिया। अगस्त 1952 में जम्मू की विशाल रैली में उन्होंने अपना संकल्प व्यक्त किया था कि या तो मैं आपको भारतीय संविधान प्राप्त कर आऊंगा या इस उद्देश्य की पूर्ति के लिए अपना जीवन बलिदान कर दूंगा।23 अक्टूबर 1951 को जनसंघ की स्थापना की उनके द्वारा लगाया गया एक छोटा सा पौधा आज यशस्वी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारतीय जनता पार्टी के रूप में एक वटवृक्ष बन चुका है और राष्ट्र के निर्माण में अपनी भूमिका निभा रहा है। इस अवसर पर उनके साथ झोझू मंडल सचिव श्रीमती राजबाला पिचोंपा, चरखी दादरी युवा मोर्चा जिला एनआईआर सैल उपाधक्ष भाजपा मनीष पिचोपा , मोहित शर्मा,कमलकांत शर्मा व अन्य कार्यकर्ता उपस्थित थे।

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