Bihar Voters Rrevision: विपक्षी दलों के विरोध के बीच चुनाव आयोग ने साफ किया, मतदाता सूची संशोधन समावेशी

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Bihar Voters Rrevision: विपक्षी दलों के विरोध के बीच चुनाव आयोग ने साफ किया, मतदाता सूची संशोधन समावेशी

EC On Bihar Voters Rrevision, (आज समाज), नई दिल्ली: बिहार की मतदाता सूची के गहन पुनरीक्षण को लेकर विपक्ष खफा है और चुनाव आयोग के इस आदेश के विरुद्ध आवाज बुलंद करने के मकसद से कई राजनीतिक पार्टियां एकजुट हुई हैं। इस बीच चुनाव आयोग ने कहा है कि मतदाता सूची संशोधन समावेशी है। वहीं विपक्षी दलों का कहना है कि मतदाता सूची के पुनरीक्षण से करोड़ों मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करने के अधिकार से वंचित हो जाएंगे।

सुप्रीम कोर्ट में 10 जुलाई को होगी सुनवाई

सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को बिहार में मतदाता सूची के चल रहे गहन पुनरीक्षण को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर 10 जुलाई को सुनवाई करने पर सहमति जताई। कांग्रेस, शिवसेना (यूबीटी), सीपीआई और सीपीआई (एमएल), एनसीपी (शरद पवार), समाजवादी पार्टी, और जेएमएम के नेताओं द्वारा संयुक्त याचिका सहित कई नई याचिकाएं इस साल के अंत में बिहार में होने वाले चुनावों से पहले गहन पुनरीक्षण करने के चुनाव आयोग के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई हैं।

मौजूदा 7,89,69,844 मतदाताओं तक पहुंच रही संशोधन प्रक्रिया 

चूंकि शीर्ष अदालत, विपक्ष और चुनाव प्राधिकरण के बीच नई लड़ाई का मैदान बनने जा रही है, इसलिए ईसी अधिकारियों ने कहा कि संशोधन की प्रक्रिया सर्वसमावेशी है क्योंकि यह बिहार के मौजूदा 7,89,69,844 मतदाताओं तक पहुंच रही है। उन्होंने कहा कि मतदाता का नाम, पता, पुरानी तस्वीर जैसे विवरणों के साथ पहले से भरे गए गणना फॉर्म हर मौजूदा मतदाता को उपलब्ध कराए जा रहे हैं।

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