SC extends Stay On Case Against Rahul Gandhi, (आज समाज), नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को वरिष्ठ कांग्रेस नेता राहुल गांधी के खिलाफ उत्तर प्रदेश में विनायक दामोदर सावरकर के खिलाफ उनकी टिप्पणियों के लिए दर्ज एक आपराधिक मामले में आपराधिक कार्यवाही पर रोक की अवधि बढ़ा दी है। न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता और न्यायमूर्ति आगस्टीन जॉर्ज मसीह की पीठ ने इस तथ्य पर ध्यान दिया कि राहुल द्वारा दायर मामले में स्थगन के लिए एक पत्र प्रसारित किया गया था और इस पर चार सप्ताह बाद सुनवाई करने का निर्णय लिया।
उत्तर प्रदेश सरकार ने दाखिल किया याचिका का जवाब
उत्तर प्रदेश सरकार के वरिष्ठ अधिवक्ता गरिमा प्रसाद ने कोर्ट को बताया कि राज्य सरकार द्वारा याचिका का जवाब दाखिल कर दिया गया है। प्रदेश सरकार ने राहुल गांधी की याचिका का विरोध किया और इसे खारिज करने की मांग कर कहा कि वह शिकायतकर्ता अधिवक्ता नृपेंद्र पांडे की इस दलील से सहमत है कि राहुल के कार्य, समाज में नफरत और दुश्मनी फैलाने के इरादे से किए गए थे।
दो सप्ताह में जवाब दाखिल कर सकते हैं राहुल
सुप्रीम कोर्ट की पीठ ने कहा कि इलाहाबाद हाई कोर्ट द्वारा राहुल गांधी की याचिका को खारिज करने वाला आदेश उचित और कानूनी था और इसमें शीर्ष अदालत का दखल जरूरी था। पीठ ने शिकायतकर्ता नृपेंद्र पांडे भी आज ही अपना जवाब दाखिल करने की इजाजत दी। कोर्ट ने कहा कि गांधी राज्य सरकार और अन्य द्वारा दायर जवाबों पर दो सप्ताह में अपना प्रत्युत्तर दाखिल कर सकते हैं।
शीर्ष अदालत ने 25 अप्रैल को की थी राहुल की खिंचाई
शीर्ष अदालत ने इससे पहले 25 अप्रैल को सावरकर पर राहुल की गैर-जिम्मेदाराना टिप्पणी के लिए उनकी खिंचाई की थी। हालांकि, पीठ ने उत्तर प्रदेश में उनकी टिप्पणी के लिए दर्ज मामले में राहुल के खिलाफ आपराधिक कार्यवाही पर रोक लगा दी। राहुल इलाहाबाद हाई कोर्ट के एक आदेश को चुनौती देते हुए शीर्ष अदालत का रुख किया, जिसने मामले में उनके खिलाफ जारी समन को रद्द करने से इनकार कर दिया था।
महाराष्ट्र के अकोला में की थी टिप्पणी
यह मामला कांग्रेस नेता द्वारा 17 नवंबर, 2022 को महाराष्ट्र के अकोला जिले में एक रैली में अपनी भारत जोड़ो यात्रा के दौरान सावरकर पर की गई टिप्पणियों से उपजा है।
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