
SC Notice NIA, (आज समाज), नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) से आतंकी गतिविधियों के आरोपी कुछ लोगों की कथित तौर पर मदद करने के आरोप में गिरफ्तार एक व्यक्ति की याचिका पर जवाब मांगा। बता दें कि अरसे से जेल में बंद अल्लाहरक्खा अबू बकर मनूरी (Allahrakha Abu Bakar Manoori) ने याचिका दायर की है जिस पर सुनवाई के दौरान कोर्ट ने एनआईए से जवाब मांगा।
सात साल से जेल में है अल्लाहरक्खा
अल्लाहरक्खा द्वारा लंबी कैद के आधार पर जमानत मांगी गई थी क्योंकि वह सात साल से जेल में है। न्यायमूर्ति एम एम सुंदरेश और न्यायमूर्ति एन कोटिश्वर सिंह की पीठ ने एजेंसी को नोटिस जारी कर जवाब मांग है। बॉम्बे हाई कोर्ट ने 28 मार्च को अल्लाहरक्खा को जमानत देने से इनकार कर दिया था, यह देखते हुए कि उस पर लगाया गया अपराध गंभीर है।
अभियोजन पक्ष ने लगाए थे ये आरोप
अभियोजन पक्ष ने हाई कोर्ट को बताया था कि मनूरी कथित तौर पर कुछ ऐसे लोगों को वाहन उपलब्ध कराने की योजना बना रहा था, जिन्हें बम विस्फोटों सहित आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देने के लिए पाकिस्तान में प्रशिक्षित किया गया था। उसने कथित तौर पर कुछ अन्य आरोपियों को हथियार भी उपलब्ध कराए थे।
हो सकता है अधिकतम आजीवन कारावास : हाई कोर्ट
हाई कोर्ट की पीठ ने कहा, अगर अल्लाहरक्खा अबू बकर मनूरी दोषी पाया जाता है, तो उसे अधिकतम आजीवन कारावास की सजा हो सकती है। उच्च न्यायालय ने कहा कि मामला काफी गंभीर है और आरोपी के खिलाफ पर्याप्त सबूत मौजूद हैं। जजों ने कहा, आरोप ऐसे कृत्यों से संबंधित हैं जो देश की सुरक्षा के लिए खतरा हैं। अपराध की गंभीरता की अनदेखी नहीं की जा सकती। उन्होंने यह भी कहा कि मुकदमे में काफी प्रगति हुई है और अभियोजन पक्ष इसे वर्ष के एंड तक कंपलीट करना चाहता है।
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