श्रीनगर। जम्मू कश्मीर के राज्यपाल सत्य पाल मलिक शनिवार को शहीदों की याद में आयोजित आधिकारिक कार्यक्रम में नहीं पहुंच सके और उनकी ओर से उनके सलाहकार ने इन शहीदों की कब्रों पर श्रद्धासुमन अर्पित किए। यह कार्यक्रम सन 1931 में आज के दिन डोगरा राजा महाराजा हरि सिंह की सेना की गोलीबारी में हुये शहीदों की स्मृति में आयोजित किया गया था। राज्यपाल मलिक ने अपने संदेश में कहा कि जम्मू कश्मीर को अपने बहुलवादी संस्कृति और समरसता के लिए जाना जाता है। उन्होंने राज्य में शांति और समृद्धि के लिए एकता और बंधुत्व पर बल दिया। राज्यपाल मलिक के सलाहकार खुर्शीद अहमद गनई ने इन 22 शहीदों की कब्रों पर फूल चढ़ाये। ये शहीद महाराजा हरि सिंह के निरकुंश शासन का विरोध कर रहे थे। इस अवसर पर नेशनल कांफ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला, पीडीपी के वरिष्ठ नेता एआर वेरी और कांग्रेस के नेता पीरजादा सईद भी मौजूद थे। राज्य के पृथकतावादियों ने इस दिन की याद में बंद का आ’’ान किया है।
Governor Malik did not arrive in the ceremony in honor of martyrs: शहीदों के सम्मान में हुये कार्यक्रम में राज्यपाल मलिक नहीं पहुंचे
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