क्या आपका भी हाथ या पैर हो जाता है सुन्न

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– चेक करा लें, हो सकता है इस बीमारी का संकेत

कोरोना महामारी ने हम सभी की लाइफस्टाइल को खराब कर दिया है। हम घरों में बंद होकर रह गए। खराब लाइफस्टाइल की वजह से कई बीमारियों का हमला हमारे शरीर पर होता है। खासकर अनियमित खानपान और दिनचर्या की वजह से हम बहुत अधिक बीमार पड़ते हैं। धीरे-धीरे हमारे शरीर में कुछ ऐसे बदलाव होते हैं, जिन्हें हम महसूस तो करते हैं, लेकिन हम उसके गंभीरता से नहीं लेते हैं। कई बार ये बदलाव बड़ी बीमारी में तब्दली हो जाते हैं। इसके बाद डॉक्टर के पास जाते हैं। ऐसी ही एक बीमारी है बैठे-बैठे हाथ-पैर सुन्न हो जाना। यह बहुत ही आम समस्या है। हम सभी को लगभग कभी-कभी इसका अनुभव हुआ ही होगा। अगर ये समस्या लगातार आपके साथ हो रही है, तो आपको इसे गंभीरता से लेने की जरूरत है।

डायबिटीज के कारण भी करीब एक तिहाई लोगों का हाथ-पैर सुन्न हो जाता है। इसलिए अगर आपके साथ ऐसा अक्सर हो रहा है, तो आपको एक बार डॉक्टर से जरूर चेकअप कराना चाहिए। हम रात में एक ही अवस्था में देर तक सोए रहते हैं, जिससे हमारे पैर या हाथ सुन्न हो जाते हैं और उसमें झुनझुनी भी चढ़ जाती है। सुन्न होने वाली जगह पर थोड़ी देर मालिश करने हाथ-पैर ठीक हो जाते हैं। अगर इसके बाद भी हाथ सुन्न रहते हैं, तो किसी गंभीर बीमारी का अंदेशा हो सकता है। कई बार हाथ-पैर में रक्त संचार की कमी की वजह से भी हाथ और पैर में सुन्न हो जाते हैं और झनझनाहट होने लगती है।

कई बार गलत तरीके से बैठने के कारण रीढ़ की हड्डी के आसपास की नसों पर दबाव बनता है। ऐसे में सर्वाइकल की समस्या शुरू हो जाती है। इसकी वजह से भी हाथ-पैर सुन्न होने लगते हैं। ऐसे में तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।

गले की थाइरॉयड ग्रंथि में गड़बड़ होने के कारण भी हाथ-पैर सुन्न होने लगते हैं। हाथ-पैर में झनझनाहट भी बनी रहती है। ऐसे में आप तुरंत डॉक्टर से चेकअप कराएं. खासकर ब्लड की जांच करवाएं।

आज के समय में ज्यादातर लोग दिनभर कंप्यूटर के सामने बैठ कर टाइपिंग करते हैं। इसकी वजह से कलाइओं की नसों पर बुरा प्रभाव पड़ता है। इसका नतीजा कार्पल टनल सिंड्रोम के रूप में दिखता है। इस बीमारी का पहला लक्षण हाथों का सुन्न हो जाना पहला संकेत हैं। ऐसे में तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।

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