Constable arrested for cheating government officials and others by becoming CM’s PA: सीएम का पीए बनकर सरकारी अधिकारियों और अन्यों को धोखा देने वाला कांस्टेबल गिरफ्तार

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पटियाला। पंजाब पुलिस ने सिपाही मनजिन्दर सिंह को मुख्यमंत्री का पीए बन कर और ट्रू-कॉलर ऐप का प्रयोग करते हुये ख़ुद को विभिन्न पदों के सीनियर अधिकारी के तौर पर गलत तरीके से पेश करके कई व्यक्तियों को धोखा देने के आरोप में गिरफ़्तार किया है।
डीजीपी दिनकर गुप्ता ने स्पैशल डीजीपी पंजाब आम्र्ड पुलिस को हिदायत की है कि उक्त सिपाही को बरख़ास्त किया जाये, जोकि अपराधिक मामलों में शामिल पाया गया है। वह पहले तीन अलग-अलग मामलों में बरी हो चुका है। साल 2006 के दौरान पंजाब पुलिस में बतौर सिपाही भर्ती हुआ यह पुलिस मुलाजि़म मौजूदा समय में पटियाला के 1 आईआरबी की तरफ से 21 नंबर ओवरब्रिज में सिपाही गार्ड के तौर पर तैनात था।
 गुप्ता ने बताया कि सचिव (खर्च) और डायरैक्टर (माइनिंग) विजय एन ज़ादे की तरफ से दी जानकारी के बाद पुलिस ने कार्यवाही शुरू की।  ज़ादे ने बताया था कि उनको एक व्यक्ति का फ़ोन आया था, जो दावा कर रहा था कि वह मुख्यमंत्री की रिहायश से बोल रहा है। जब इसकी जांच की गई तो पता लगा कि कोई भी ऐसा व्यक्ति मुख्यमंत्री की रिेहायश या कार्यालय में ड्यूटी पर नहीं था। हालाँकि, ट्रू-कॉलर पर दिखाया गया था कि यह कॉल मुख्यमंत्री निवास से आई है।
डीजीपी ने बताया कि एमबीए पास यह संदिग्ध व्यक्ति अलग-अलग सरकारी अधिकारियों को फ़ोन करता था और अक्सर ख़ुद को मुख्यमंत्री के निजी सहायक कुलदीप सिंह के तौर पर पेश करता था। उन्होंने कहा कि वह अपनी असली पहचान को बचाने के लिए टेक्नोलोजी का बहुत चालाकी से इस्तेमाल करता था। वह ट्रू-कॉलर एप में अदला-बदली करके अपने आप को मुख्यमंत्री कार्यालय चण्डीगढ़, एसएसपी चण्डीगढ़, डीसी मुक्तसर के अलावा कई अन्य व्यक्तियों के तौर पर पेश करता था।
 गुप्ता ने बताया इस सिपाही के कब्ज़े में से 12 सिम कार्डों समेत  अलग-अलग कंपनियों के आठ मोबाइल फ़ोन, एक इनोवा कार, आधार कार्डों की कापियां, वोटर कार्ड और अन्य व्यक्तियों की मार्कशीटें आदि बरामद किये गए हैं। उसने सफ़ेद रंग की इनोवा कार पर फ्लैग रॉड लगाया हुआ था और सामने शीशे पर वीआईपी स्टिकर लगाया हुआ था।
मकान नंबर 132 ए, गली नंबर 3, सराभा नगर भादसों रोड़, पटियाला निवासी उक्त आरोपी से ज़ब्त की गई अन्य चीजों में 2 आधार कार्ड (कमलेश चौधरी और जगतार सिंह के नाम वाले), जगतार सिंह का वोटर शनाखती कार्ड थे, सतनाम सिंह के आधार कार्ड की फोटो कापी, 10 भी और 12 भी की मार्कशीटें भी शामिल हैं।
प्राथमिक जांच के दौरान दोषी मनजिन्दर सिंह ने बताया है कि वह ख़ुद को कुलदीप सिंह, निजी सहायक मुख्यमंत्री, पंजाब के तौर पर पेश करके अलग-अलग अधिकारियों के साथ संपर्क करता था। उनमें से कुछ डीएसपी मलेरकोटला सुमित सूद, माइनिंग अफ़सर रोपड़ मनजीत कौर ढिल्लों, सुपरिंटेंडेंट(पीआरटीसी फरीदकोट) सीता राम, नाका इंचार्ज नज़दीक नन्दपुर केशो पटियाला – सरहिन्द रोड़, पीपी फगन माजरा शामिल हैं। एसएसपी पटियाला विक्रमजीत दुग्गल ने बताया कि उक्त दोषी के खि़लाफ़ एफआईआर नं. 300 आइपीसी की धारा 419, 420, 467, 471 और 66 (डी) आईटी एक्ट के अंतर्गत थाना त्रिपड़ी, पटियाला में अपराधिक केस दर्ज कर लिया गया। अगली जांच जारी है और अन्य खुलासे होने की उम्मीद है, जिसमें अलग अलग पीडि़तों के नाम शामिल हैं जिनको उसने धोखा दिया था और कितनी रकम उनसे ठगी थी।
उक्त मुलाजि़म के विरुद्ध दर्ज पिछली एफ.आई.आर. में एफ.आई.आर. नं. 264, तारीख़ 21.08.12 के अधीन धारा 420, 511 थाना त्रिपड़ी, जि़ला पटियाला, एफ.आई.आर. नं. 234 तारीख़ 02.07.2009 के अधीन आई.पी.सी. धारा 323, 341, 506, 427, 34 थाना त्रिपड़ी जि़ला पटियाला और एफआईआर नंबर 218 तारीख़ 14.11.2014 आई.पी.सी. की धारा 379, 427, 411 के अंतर्गत थाना सिविल लाईनज़, पटियाला शामिल हैं।

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