जीत का जश्न मनाने पर क्यों हुई आसिफ अली की आलोचना

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जीत का जश्न मनाने पर क्यों हुई आसिफ अली की आलोचना

जीत का जश्न

आज समाज डिजिटल, नई दिल्ली:

जीत का जश्न टी-20 वर्ल्ड कप में पिछले दिनों अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच बेहद करीबी और रोमांचक मुकाबला देखने को मिला। मैच के अंतिम दो ओवर में पाकिस्तान को जीत के लिए 24 रन चाहिए थें और आसिफ अली ने चार छक्के मारकर मैच 19वें ओवर में ही समाप्त कर दिया। इसके बाद वे पाकिस्तान के क्रिकेट प्रेमियों के दिलों पर छा गए। लेकिन जब उन्होंने जीत का जश्न मनाया तो उनकी कुछ आलोचना भी हुई। उनकी आलोचना करने वालों में श्रीलंका में अफगानिस्तान के राजदूत भी शामिल हैं। उन्होंने आसिफ अली की कड़ी आलोचना की है।

जीत का जश्न बैट को बंदूक की तरह दर्शाया था

दरअसल, अफगानिस्तान के खिलाफ पाकिस्तान को जीत दिलाने वाले आसिफ अली ने जीत के बाद अपने बैट को बंदूक की तरह पकड़ा हुआ था। यह तस्वीर सोशल मीडिया में वायरल हो गई। इसी तस्वीर को पोस्ट करते हुए श्रीलंका में अफगानिस्तान राजदूत एम अशरफ हैदरी ने आसिफ अली को निशाने पर ले लिया। उन्होंने लिखा कि पाकिस्तान के खिलाड़ी आसिफ अली द्वारा बैट को बंदूक की तरह दिखाना आक्रामकता का शर्मनाक उदाहरण है। अफगानिस्तान के खिलाड़ियों ने उन्हें और उनकी टीम को कड़ी चुनौती दी है। इस सबसे ऊपर खेल एक स्वस्थ प्रतिस्पर्धा, दोस्ती और शांति से जुड़ा होता है।

जीत का जश्न अफगानिस्तान की जनता ने भी आसिफ की आलोचना की

इतना ही नहीं सोशल मीडिया पर कई लोगों ने आसिफ अली की आलोचना की है। आलोचना करने वाले लोगों में अफगानिस्तान के लोग अधिक हैं। श्रीलंका में अफगानिस्तान राजदूत एम अशरफ हैदरी के इस ट्वीट के बाद आसिफ अली की यह तस्वीर चर्चा में आ गई और लोग इस पर बहस कर रहे हैं। हालांकि कई लोग आसिफ अली के बचाव में भी उतर आए हैं।

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