10 reasons for Team India’s defeat to England in Chennai Test: चेन्नई टेस्ट में इंग्लैंड के हाथों टीम इंडिया की हार के 10 कारण

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टीम इंडिया की इंग्लैंड के हाथों हार कई सवाल खड़े करती है। क्या टीम ब्रिसबेन की जीत की खुमारी से अभी तक उबरी नहीं है। क्या टीम इंडिया ने    इंग्लैंड के स्पिनरों को हल्के से आंकने की भूल की। क्या जो रूट और जेम्स एंडरसन को भी गम्भीरता से नहीं लिया। सच तो यह है कि टीम इंडिया को अपनी बुनियादी कमज़ोरियों से निजात पाने के लिए युद्ध स्तर पर प्रयास करने की ज़रूरत है। यहां प्रस्तुत हैं टीम इंडिया की हार के 10 कारण –

1.       टीम इंडिया को मज़बूत आधार न मिलना बड़ी कमज़ोरी साबित हुई। इसके लिए रोहित शर्मा का दोनों पारियों में सस्ते में आउट होना एक कारण रहा। दूसरी पारी में तो लेफ्ट आर्म स्पिनर के सामने अपना बायां पांव लेग
साइड की ओर रखना उनकी बुनियादी कमी रही। न वह इस दौरान साइड आर्म एक्शन करते दिखे जिससे वह बड़ी पारी नहीं खेल सके।

2.       पहली पारी में पांच कैच छोड़ना टीम इंडिया की हार का बड़ा कारण साबित हुआ। पहली पारी में विकेटकीपर बल्लेबाज़ ऋषभ पंत ने दो, अश्विन, पुजारा और रोहित शर्मा ने एक-एक कैच टपकाए। इसी टीम इंडिया ने ऑस्ट्रेलिया के दौरे में तीनों फॉर्मेट में कुल 31 कैच छोड़े थे। तब सीरीज़ के जीतने से इन कैचों के छूटने पर हो हल्ला नहीं मचा। वहीं इंग्लैंड़ ने चेन्नई टेस्ट में बेहतरीन कैच लपककर दोनों टीमों के बीच एक बड़ा अंतर साबित कर दिया।

3.       तीसरा बड़ा फर्क अतिरिक्त रनों को लेकर सामने आया। टीम इंडिया  ने पहली पारी में 45 और दूसरी पारी में सात अतिरिक्त रन दिए जिनमें 27 नो बॉल शामिल थीं जबकि इंग्लैंड ने दोनों पारियों में कुल 20 अतिरिक्त रन
खर्च किए जिनमें केवल दो नो बॉल शामिल थीं।

4.       टीम इंडिया ने पहली पारी में अपने तीनों डीआरएस के मौके गंवा दिए। दो मौके तो आर अश्विन ने ही गंवाए। निश्चय ही टीम इंडिया यहां एमएस धोनी को काफी मिस कर रही है।

5.       विराट की कप्तानी पर भी सवाल उठने लगे हैं। हर नए सत्र की शुरुआत दबाव बनाकर की जानी चाहिए थी लेकिन विराट ने कई सत्रों की शुरुआत शाहबाज़ नदीम की गेंदबाज़ी से की।

6.       जो स्वीप और रिवर्स स्वीप जो रूट और सिबली की तरफ से देखने को मिले, वैसे स्वीप टीम इंडिया की ओर से देखने को नहीं मिले जबकि इंग्लैंड के दोनों स्पिनर – जैक लीच और डॉम बैस को हमने कुछ ज़्यादा ही हल्का मान
लिया जबकि इन दोनों ने मिलकर 11 विकेट चटकाए।

7.       आजिंक्य रहाणे को भी यह समझ लेना चाहिए कि मेलबर्न टेस्ट की एक सेंचुरी के दम पर वह हमेशा ही टीम में बने नहीं रहेंगे। पहली पारी में उन्होंने फुलटॉस पर अपना विकेट गंवाया और दूसरी पारी में बल्ले और पैट के
बीच में इतना बड़ा गैप रखना उनके लिए आत्मघाती साबित हुआ।

8.       चेतेश्वर पुजारा का दूसरी पारी में जल्दी आउट होना हार का बड़ा कारण साबित हुआ क्योंकि वह एक छोर पर अपना विकेट बचाकर रखे रहते तो दूसरे छोर पर बल्लेबाज़ों को विकेट पर टिककर रन बनाने का अवसर मिलता।

9.       टॉस हारने से भी भारत की मुश्किलें बढ़ीं। हालांकि यह पक्ष भारत के हाथ में नहीं है लेकिन पांचवें दिन बेहद मुश्किल होती पिच पर बल्लेबाज़ी से बच सकते थे और पहली पारी की सपाट पिच पर रन बनाने का फायदा
उठाया जा सकता था।

10.   ऐसा भी लगता है कि टीम इंडिया ब्रिसबेन की जीत की खुमारी से अभी तक उबरी नहीं है। इससे टीम का आत्मविश्वास बढ़ना अच्छी बात है लेकिन ओवर कॉन्फिडेंट होना हार का बड़ा कारण बना। यही वजह है कि चौथी पारी में कई भारतीय खिलाड़ियों के गैर-ज़िम्मेदाराना शॉट्स इसकी बड़ी वजह साबित हुए।

मनोज जोशी
(लेखक वरिष्ठ खेल पत्रकार एवं टीवी कमेंटेटर हैं)

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