कम लिंगानुपात वाले गांव के नाम किए जाएंगे सार्वजनिक
Chandigarh News (आज समाज) चंडीगढ़: हरियाणा में गिरते लिंगानुपात को लेकर सरकार चिंतित है। सरकार ने ऐसे गांवों को पहचान करना शुरू कर दिया है। जहां पर लिंगानुपात 1,000 लड़कों पर 700 या उससे कम लड़कियां हैं। ऐसे गांवों के नामों को अब सार्वजनिक किया जाएगा। इसके अलावा लिंगानुपात में सुधार को लेकर सरकार ने एक अहम निर्णय लिया है। अब सरकार बेटियों के जन्म पर गोद भराई, कुआं पूजन जैसे जश्न मनाने का निर्णय लिया है। इन जश्नों को सार्वजनिक रूप से मनाने की जिम्मेदारी महिला एवं बाल विकास विभाग को दी गई है।
वहीं सरकार अब 6,849 गांवों में से 7% सर्वाधिक प्रभावित क्षेत्रों में गर्भधारण की गहन निगरानी करेगी, जिसका लक्ष्य अगले वर्ष तक लिंगानुपात में उल्लेखनीय सुधार दिखाना है। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी खुद इस मामले को लेकर काफी गंभीर हैं। यही वजह है कि स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी जल्द से जल्द पॉलिसी का ड्राफ्ट बनाने में जुटे हुए हैं।
गिरते लिंगानुपात में सुधार नहीं होने पर 8 एसएमओ को नोटिस जारी
इसके अलावा, वरिष्ठ चिकित्सा अधिकारियों को अपने-अपने क्षेत्रों में लिंगानुपात के लिए सीधे तौर पर जवाबदेह बनाया गया है। वास्तव में, इस गिरावट को रोकने में विफल रहने पर आठ एसएमओ को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है।
नोटिस बोर्ड पर लिखे जाएंगे गांवों के नाम
एसटीएफ के एक सदस्य ने बताया कि लगातार प्रयासों के बावजूद नतीजे न दिखाने वाले गांवों के नाम उजागर करने और उन्हें शर्मिंदा करने का फैसला किया गया है। इसमें जिला सचिवालय के नोटिस बोर्ड पर इन गांवों के नाम लगाना और खराब आंकड़ों को उजागर करने के लिए पंचायत स्तर पर बैठकें आयोजित करना शामिल होगा।
उपायुक्तों को भेजी सूची
प्रभावित गांवों की सूची पहले ही उपायुक्तों के साथ साझा की जा चुकी है और सरपंचों को जागरूकता अभियान और सामुदायिक सहभागिता में सक्रिय रूप से भाग लेने के लिए कहा गया है।
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