विधि-विधान से करें गणपति विसर्जन
Ganesh Visarjan Kalash And Naariyal Niyam (आज समाज), नई दिल्ली, भाद्रपद माह के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि से गणेश उत्सव की शुरूआत होती है, जो कि अनंत चतुर्दशी पर समाप्त होता है। 10 दिनों तक चलने वाले इस उत्सव के दौरान भक्त घर में गणेश जी की स्थापना करते हैं और अपनी इच्छानुसार उनका 3, 5, 6 या 10 दिन बाद उनको विसर्जित कर विदाई देते हैं। अबकी बार शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि 6 सितंबर यानी की आज है।
आज के दिन गणपति बप्पा का विसर्जन किया जाएगा। गणेश उत्सव के दौरान जब घर-घर बप्पा की स्थापना होती है, तो साथ में कलश की स्थापना भी की जाती है। गणेश जी की स्थापना के बाद उनको बहुत सी चीजें भी चढ़ाई जाती हैं। ऐसे में लोगों के मन में सवाल आता है कि गणेश विसर्जन के बाद कलश और नारियल का क्या करना चाहिए? आइए हम आपको बताते हैं।
कलश के जल का घर में करें छिड़काव
गणपति विसर्जन के बाद कलश के जल घर में छिड़कना चाहिए या पौधों में डालना चाहिए। गणेश जी के विसर्जन के बाद आप कलश को अपनी किचन में चावल या और कोई अन्न भरकर रख सकती हैं। इसके अलावा, आप इस कलश का इस्तेमाल तुलसी को जल चढ़ाने के लिए इस्तेमाल कर सकती हैं।
गणेश विसर्जन के बाद कलश के नारियल को प्रसाद के रूप में ग्रहण कर सकते हैं, नदी या बहते पानी में विसर्जित कर सकते हैं, घर के मंदिर में लाल कपड़े में बांधकर रख सकते हैं या फिर किसी वृक्ष की जड़ में दबा सकते हैं। आप चाहें तो सूखे नारियल का इस्तेमाल बाद में किसी अन्य पूजा में कर सकते हैं या रसोई में भी कर सकते हैं।
नारियल को प्रसाद के रूप में कर सकते हैं ग्रहण
गणेश विसर्जन के बाद कलश के नारियल को प्रसाद के रूप में ग्रहण कर सकते हैं, नदी या बहते पानी में विसर्जित कर सकते हैं, घर के मंदिर में लाल कपड़े में बांधकर रख सकते हैं या फिर किसी वृक्ष की जड़ में दबा सकते हैं। आप चाहें तो सूखे नारियल का इस्तेमाल बाद में किसी अन्य पूजा में कर सकते हैं या रसोई में भी कर सकते हैं।
जली हुई बाती करें जल में प्रवाहित
गणेश जी के विसर्जन के बाद पूजा में जली हुई बाती को कभी भी कूड़ेदान में नहीं फेंकना चाहिए। जली हुई बाती को पवित्र बहते जल में प्रवाहित किया जा सकता है या फिर उसे तुलसी के पौधे के पास की मिट्टी में दबा देना चाहिए। आप बाती की राख को जमा कर सकते हैं और उसका इस्तेमाल तिलक लगाने या नजर उतारने के लिए कर सकते हैं।
ब्राह्मण को दान करें सुपारी
गणेश जी की पूजा में इस्तेमाल की गई सुपारी को आमतौर पर किसी ब्राह्मण को दान कर दिया जाता है या बहते पानी में विसर्जित कर दिया जाता है। अगर आप धन संबंधी समस्याओं से परेशान हैं, तो सुपारी को लाल कपड़े में बांधकर तिजोरी या अपने घर के धन स्थान पर रख सकते हैं।
कलश के सिक्कों को रखें तिजोरी में
इसके अलावा, गणपति विसर्जन के बाद कलश में रखे सिक्के को तिजोरी में रखना चाहिए। पूजा में इस्तेमाल जौ (जवारे) को सम्मानपूर्वक किसी पवित्र स्थान पर प्रवाहित कर सकते हैं या पौधों में डाल सकते हैं। वहीं, गणेश पूजन में इस्तेमाल की गई दूर्वा को तिजोरी में रख सकते हैं।
ये भी पढ़ें : विधि-विधान से करें गणपति विसर्जन
ये भी पढ़ें : अनंत चतुर्दशी आज, भगवान विष्णु के अनंत रूपों की करें पूजा