- जिम संचालक व परिजनों से साढ़े छह घंटे तक की गहनता से पूछताछ
- संदिग्ध के खाते में दो ट्रांजेक्शन किए जाने पर की एनआईए ने छापेमारी
(Jind News) जींद। राष्ट्रीय सुरक्षा एजेंसी (एनआईए) की टीम ने शनिवार अल सुबह संदिग्ध ट्रांजेक्शन को लेकर सैक्टर आठ स्थित जिम संचालक के आवास पर छापेमारी की। टीम ने लगभग साढ़े छह घंटे तक जिम संचालक तथा उसके परिजनों से पूछताछ की। इसके बाद टीम जिम संचालक को साथ ले गई। वहीं परिजनों को वकील के रविवार को एनआईए हेडक्वाटर दिल्ली आने को कहा है। टीम द्वारा दबिश के बारे में कुछ भी बताने से साफ मना कर दिया।
शनिवार सुबह पहुंची एनआईए टीम
एनआईए की टीम शनिवार सुबह लगभग पौने पांच बजे सेक्टर आठ में जिम संचालक कशिश कोचर के आवास पर दस्तक दी। पुलिसबल बाहर तैनात रहा। टीम ने मकान के अंदर तथा बाहर किसी को नही जाने के निर्देश दिए। यहां टीम ने मोबाइल फोन कॉल, बैंक खाते की डिटेल को खंगाला। हालांकि टीम से मामले की जानकारी जुटाने की कोशिश की तो उन्होंने कोई जवाब नही दिया। टीम लगभग 11 बजे तक कशिश के आवास पर रही।
जिसके बाद टीम ने कशिश को नोटिस जारी कर दिल्ली हैडक्वार्टर पहुंचने के लिए कहा। जब अन्य परिजनों को वकील के साथ रविवार को हैडक्वार्टर पहुंचने का नोटिस जारी किया। कशिश नोटिस के मिलने के साथ अपनी गाडी से एनआईए टीम के साथ दिल्ली के लिए रवाना हो गया।
संदिग्ध खातों में हुई ट्रांजेक्शन, टीम ने कुछ भी बताने से किया मना
कशिश दिल्ली तथा दुबई में कपड़े के एक्सपोर्ट का कार्य करता था। लगभग एक साल पहले कशिश ने दुबई को छोड़ दिया और जींद में जिम चलाने लगा। अप्रैल 2024 महीने में कशिश के खाते से सात तथा नौ हजार रुपये की दो ट्रांजेक्शन एक संदिग्ध के खाते मे की गई थी। जिस संदिग्ध के खाते में रुपये की ट्रांजेक्शन की गई, वह एनआईए की राडार पर था। जब एनआईए ने उस संदिग्ध की कुंडली खंगाली तो जबकि दो ट्रांजेक्शन कशिश के खाते की मिली।
जबकि कशिश का कहना था कि कपड़ा एक्सपोर्ट के दौरान के दुबई के एक जानकार ने खाता नंबर देकर उस खाते में राशि डालवाने के लिए कहा था। जिस पर उसने उस खाते में राशि का डलवा दिया। जिस व्यक्ति के खाते में राशि गई वह उस व्यक्ति को नही जानता। न ही उस व्यक्ति से उसका संपर्क हुआ।
कशिश के पिता की मौत हो चुकी है। जबकि उसकी मां निजी स्कूल मे अध्यापिका रही है। कशिश परिवार की गिनती शहर के बड़े कारोबारियों में होती है।
सिविल लाइन थाना प्रभारी बलजीत सिंह ने बताया कि टीम को प्रोटेक्शन दी थी लेकिन टीम ने किस मामले में क्या जांच की है, इसके बारे में कोई जानकारी नही है।
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