• बैठक में नजफगढ़ ड्रेन के विकास और उससे जुड़े पर्यावरणीय एवं तकनीकी पक्षों पर भी हुई चर्चा

(Gurugram News) गुरुग्राम। केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह ने गुरुग्राम में वर्षा से पूर्व तैयारियों की समीक्षा के लिए बुधवार को उच्चस्तरीय बैठक ली। उन्होंने कहा कि गुरुग्राम प्रदेश की आर्थिक राजधानी होने चलते यहां जलभराव जैसी परिस्थितियां वैश्विक स्तर पर भी शहर की छवि को प्रभावित करती हैं। ऐसे में प्रशासनिक अधिकारी आगामी मॉनसून से पूर्व सभी आवश्यक तैयारी रखते हुए जलभराव की समस्या के स्थायी समाधान की दिशा में कार्य करें।

राव इंद्रजीत सिंह ने गुरुग्राम में जल संरक्षण और भूजल स्तर बढ़ाने के उद्देश्य से कृत्रिम झीलों और तालाबों के पुनर्विकास की बात कही। उन्होंने नगर निगम और गुरुग्राम महानगर विकास प्राधिकरण के अधिकारियों को वर्षा जल को संग्रहित करने के लिए शहर के जल निकासी प्रणाली को सुधारने और उसे झीलों व तालाबों से जोडऩे की योजना बनाने के निर्देश दिए।

रिहायशी क्षेत्रों का भी निरीक्षण किया तथा वहां किए जा रहे जलनिकासी के प्रबंधों को भी देखा

बैठक में शहर तथा गुरुग्राम से गुजरने वाले राष्ट्रीय राजमार्गों पर जलनिकासी की व्यवस्था, जलाशयों के जीर्णोद्धार, नजफगढ़ ड्रेन के विकास कार्य, बाढ़ नियंत्रण कक्ष की स्थापना सहित अन्य महत्वपूर्ण विषयों पर विस्तार से चर्चा की गई। केंद्रीय मंत्री ने बैठक से पूर्व एंबियंस मॉल तथा सेक्टर-15 पार्ट-2 में झाड़सा बंध के साथ स्थित रिहायशी क्षेत्रों का भी निरीक्षण किया तथा वहां किए जा रहे जलनिकासी के प्रबंधों को भी देखा। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि जलभराव की समस्या को दूर करने के लिए नालों की सफाई और ड्रेनेज सिस्टम से अवरोधों को हटाया जाए।

नजफगढ़ ड्रेन के विकास एवं तकनीकी पक्षों पर भी हुई चर्चा

बैठक में नजफगढ़ ड्रेन के विकास और उससे जुड़े पर्यावरणीय एवं तकनीकी पक्षों पर भी गहन चर्चा हुई। राव ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि ड्रेन के विकास कार्यों में पारदर्शिता और गुणवत्ता का विशेष ध्यान रखा जाए। उन्होंने कहा कि नजफगढ़ ड्रेन के विकास में जिला प्रशासन द्वारा जो भी कदम उठाए जाएं।

उसमें स्थानीय किसानों के हितों का भी विशेष ध्यान रखा जाए। इसके अतिरिक्त, बैठक में बाढ़ नियंत्रण कक्ष की स्थापना, आपात स्थिति में त्वरित प्रतिक्रिया दल की तैनाती तथा आमजन को समय पर सूचनाएं देने की व्यवस्था सुनिश्चित करने पर भी बल दिया गया।

डीसी ने मंत्री को दी यह जानकारी

बैठक में डीसी अजय कुमार ने जलनिकासी के लिए बिंदुवार की जा रही व्यवस्थाओं की जानकारी देते हुए बताया कि हीरो होंडा चौक पर अभी अस्थायी रूप से पंप की व्यवस्था की गई है। वहीं स्थाई समाधान की दिशा में काम जारी है। उन्होंने बताया कि हीरो होंडा चौक से उमंग भारद्वाज चौक तक 2.3 किलोमीटर की लंबाई की मास्टर ड्रेन के निर्माण के लिए 15.57 करोड़ का एस्टीमेट तैयार कर एनएचएआई को भेजा गया है। जिस पर काम शुरू हो गया है।

उन्होंने नरसिंहपुर पॉइंट की जानकारी देते हुए बताया कि इस बार जयपुर की दिशा में आवश्यक व्यवस्था करने के साथ गांव की तरफ भी अतिरिक्त पंप लगाए गए हैं। कृत्रिम झील के निर्माण की स्थिति की जानकारी देते हुए उन्होंने बताया कि सेक्टर 54 में वजीराबाद जलाशय का विकास किया गया है।

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