(Gurugram News) गुरुग्राम। गुरुग्राम के बौद्धिक दिव्यांग खिलाड़ी रनवीर सैनी ने मकाऊ में टूर्नामेंट में गोल्ड मेडल और ओवरऑल ट्रॉफी जीतकर देश-प्रदेश का नाम रोशन किया है। रनवीन सैनी इस जीत के साथ ही दूसरे दिव्यांग खिलाडिय़ों के लिए बड़ी प्रेरणा बनकर उभरे हैं। उनके पिता कार्तिकेय सैनी ने उत्साहित होकर बेटे की इस उपलब्धि पर गर्व महसूस किया है। साथ ही कहा है कि दूसरे खिलाड़ी भी रनवीर की इस जीत से प्रेरणा लें।
गुरुग्राम के ऑटिस्टिक गोल्फर रनवीर सैनी ने मकाऊ में 20 से 26 जून तक गोल्फ मास्टर्स टूर्नामेंट में बेहतरीन खेलते हुए अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन किया। बेहतरीन प्रदर्शन के साथ ही उसने गोल्ड मेडल और ओवरऑल ट्रॉफी यानी चैलेंजर्स लीग ट्रॉफी भी जीती। मकाऊ में अंतरराष्ट्रीय ऑटिस्टिक गोल्फ टूर्नामेंट में भारत समेत अमेरिका, दक्षिण कोरिया, यूके, थाईलैंड, फिनलैंड, कोस्टा रिका, हॉंगकॉंग, दक्षिण कोरिया समेत दुनिया के 47 देशों के खिलाडिय़ों ने भाग लिया।
रनवीर को अनेक पुरस्कारों से सम्मानित किया जा चुका
मौसम की प्रतिकूल परिस्थितियों के बावजूद रनवीर सैनी ने अपने खेल को पूरी हिम्मत से खेला। रनवीर को अनेक पुरस्कारों से सम्मानित किया जा चुका है। उसके खेल व देश के प्रति योगदान पर उन्हें वर्ष 2024 में राष्ट्रपति की ओर से सम्मानित किया जा चुका है।
रनवीर के पिता ने उसकी इस उपलब्धि को सांझा करते हुए कहा कि मकाऊ की धरती पर जहां दूसरे देशों के खिलाड़ी मॉल्स में मौज-मस्ती करने निकल जाते थे, उस समय रनवीर मैदान में अपने खेल पर फोकस करते हुए रिहर्सल करता था। जब टूर्नामेंट में वह प्रतिद्वंदी टीम के साथ खेला तो उसका कॉन्फिडेंस बेहतरीन था। बचपन से ही ऑटिज्म बीमारी से पीडि़त होने के चलते रनवीर सैनी 50 प्रतिशत बौद्धिक दिव्यांगता की श्रेणी में आते हैं।
यह भी पढ़े : Ujjwala Yojana 2025 : सब्सिडी का पता लगाना हुआ और भी आसान , जाने पूरी प्रक्रिया