पहाड़ों पर बर्फबारी के बाद उत्तरी-पश्चिमी हवा चलने से बढ़ी ठंड
Haryana Weather Update, (आज समाज), चंडीगढ़: हरियाणा में ठंड ने अपना असर दिखना शुरू कर दिया है। प्रदेश का न्यूनतम तापमान 6.6 डिग्री पर पहुंच चुका है। पहाड़ों पर बर्फबारी के बाद उत्तरी-पश्चिमी हवा चलने से मैदानी इलाकों में ठंड बढ़ी है। मौसम विभाग की ओर से राजस्थान के साथ लगते 7 जिलों सिरसा, फतेहाबाद, हिसार, भिवानी, महेंद्रगढ़, रेवाड़ी और चरखी-दादरी में शीतलहर का यलो अलर्ट जारी किया गया है।
मौसम विभाग का कहना है कि अभी 5 दिन ओर इन जिलों में शीत लहर चलने की संभावना है, जिस कारण प्रदेश में अभी ओर ठंड बढ़ सकती है। इसके अलावा प्रदेश में सुबह और शाम दोनों समय धुंध देखी जा रही है। नमी बढ़ने से प्रदूषण भी बढ़ा है। हरियाणा 9 शहरों में प्रदूषण खतरनाक स्थिति में पहुंच गया है। इसमें अधिकांश एनसीआर के जिले शामिल हैं। प्रदूषण नियंत्रण के लिए ग्रैप का तीसरा चरण यहां लागू हो गया है। इससे अब प्रदूषण बढ़ाने वालों पर कार्रवाई की जा सकेगी।
5 शहरों का तापमान 10 डिग्री से कम
हरियाणा के 5 शहरों हिसार, गुरुग्राम, करनाल, महेंद्रगढ़, नारनौल में तापमान 10 डिग्री से नीचे चला गया है। नारनौल में मंगलवार को न्यूनतम तापमान 6.6 डिग्री दर्ज किया गया था जो सीजन का सबसे कम तापमान रहा।
वहीं रोहतक, जींद, कैथल, कुरुक्षेत्र, पंचकूला, पानीपत, सोनीपत और सिरसा में तापमान 10 डिग्री या इसके करीब पहुंच गया है। सिरसा और जींद में तापमान 10 डिग्री, सोनीपत में 10.1, कैथल में 10.2,पानीपत में 10.3 और कुरुक्षेत्र में 10.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है।
15 नवंबर तक खुश्क रहेगा मौसम, उत्तर व उत्तर पश्चिमी हवाएं चलेगी
हिसार स्थित चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के कृषि मौसम विज्ञान विभाग के अध्यक्ष डॉ. मदन खीचड़ ने बताया कि हरियाणा में मौसम आमतौर पर 15 नवंबर तक खुश्क रहने की संभावना है।
इस दौरान उत्तर व उत्तर पश्चिमी हवाएं हल्की से मध्यम गति से चलने की संभावना है। मौसम विभाग के अनुसार, हवा चलने की वजह से दिन में तापमान थोड़ा बढ़ सकता है, लेकिन रात में थोड़ी ठंडक रहेगी।
दिल्ली-एनसीआर में ग्रैप 3 की पाबंदिया लागू
देश की राजधानी व एनसीआर में सीजन की सबसे खराब वायु गुणवत्ता (एयर क्वालिटी) दर्ज की गई है। हरियाणा के 14 जिले एनसीआर में शामिल हैं। केंद्र ने पूरे दिल्ली-एनसीआर में ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान का तीसरा चरण लागू कर दिया है।
इसके तहत, दिल्ली-एनसीआर में सड़क, रेलवे और एयरपोर्ट जैसी जरूरी परियोजनाओं को छोड़कर, निर्माण और तोड़फोड़ के काम पर रोक लगा दी गई है।


